नयी दिल्ली, 1 फरवरी (एजेंसी)
मोदी सरकार के तीसरे बजट से वर्किंग क्लास को मायूसी ही हाथ लगी है। काफी दिन से अटकलें लगायी जा रही थीं कि इस बार कोरोना संकट के कारण बजट में इनकम टैक्स स्लैब बढ़ाया जायेगा मगर एेसा हुआ नहीं। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण द्वारा पेश किये गये बजट प्रस्ताव में इनकम टैक्स स्लैब में कोई बदलाव नहीं किया गया है।
सिर्फ 75 से ज्यादा उम्र के सीनियर सिटिजन्स को ही राहत देते हुए उन्हें इनकम टैक्स रिटर्न फाइल करने से मुक्त कर दिया है। 75 साल से अधिक के बुजुर्गों, जिनकी आय का स्रोत सिर्फ पेंशन है, उन्हें अब इनकम टैक्स रिटर्न नहीं भरना होगा। वित्त मंत्री ने एनआरआई लोगों को टैक्स भरने में होने वाली परेशानियों को देखते हुए उन्हें डबल टैक्स सिस्टम से छूट देने का ऐलान किया है।
वित्त मंत्री ने छोटे करदाताओं के लिए मुकदमेबाजी को और कम करने के लिए विवाद समाधान समिति गठित करने का प्रस्ताव बजट भाषण में किया है। ये समिति दक्षता, पारदर्शिता सुनिश्चित करेगी। 50 लाख रुपये तक की कर योग्य आय वाले और 10 लाख रुपये तक की विवादित आय वाले व्यक्ति इस समिति के समक्ष जा सकेंगे।
पिछले बजट के अनुसार अभी देश में मौजूदा टैक्स की दरें –
* 5 लाख तक की आय पर कोई टैक्स नहीं
* 5 से 7.5 लाख: 10%,
* 7.5 से 10 लाख: 15%
* 10 से 12.5 लाख की आय पर अब 20% टैक्स