जीसी पठानिया/निस
धर्मशाला, 10 नवंबर
तिब्बती धर्मगुरू दलाई लामा चाहते हैं कि उनके जीवन के शेष बचे दिन धर्मशाला में ही बीते। उन्होंने कहा कि धर्मशाला की आबोहवा व भौगोलिक परिस्थितियां उनके अनुकूल हैं। दलाई लामा ने ये बात आज अपने मैक्लोडगंज स्थित अस्थायी निवास स्थान में ऑनलाइन माध्यम से जापान के फारन कोरेसपोंडेंटस क्लब ऑफ तिब्बत हाउस द्वारा आयोजित व्याखान के दौरान कही। इस दौरान उन्होंने कई सवालों के जवाब भी दिए।
दलाई लामा ने कहा कि उनके स्वास्थ्य के लिए ये जगह बहुत अच्छी है। यहां पर बर्फ से लदे पहाड़ हैं, कुछ झीलें भी हैं, इसलिए ही उन्हें ये जगह बेहद पसंद है। दलाई लामा का कहना है कि जब वह तत्कालीन पीएम मनमोहन सिंह से मिले थे तो कहा था कि वह भारत में ही रहना चाहते हैं,क्योंकि भारत में उनको पूर्ण रूप से स्वतंत्रता है। भारत में धार्मिक सद्भावना है। दलाई लामा ने कहा कि अगर सिद्धांतों की बात की जाए तो भारत उनके लिए बहुत अनुकूल जगह है। उन्होंने कहा कि शांति व आंतरिक शांति के लिए जो सहयोग कर सकता हूं वह करते रहेंगे।