पानीपत,13 जनवरी (निस)
पानीपत में सिंचाई विभाग के रजबाहे की भूमि पर बने शिव मंदिर व अन्य अवैध निर्माणों को तोड़ने के लिये सिंचाई व वन विभाग की संयुक्त टीम भारी पुलिस बल के साथ बृहस्पतिवार को करीब 10.45 बजे जाटल रोड पर शिव मंदिर के पास पहुंची। टीम में सिंचाई विभाग की तरफ से एक्सईएन सुरेश सैनी और वन विभाग की तरफ से रेंज अधिकारी केसी बांगड़ और समालखा के रैंज अधिकारी विरेंद्र शामिल थे। ड्यूटी मजिस्ट्रेट के तौर पर एटीपी नवीन कुमार टीम के साथ मौजूद थे। टीम ने जेसीबी की मदद से शिव मंदिर को तोड़ना शुरू ही किया था कि आसपास के लोग भारी संख्या में वहां पर एकत्रित हो गये और उन्होंने शिव मंदिर को तोड़ने का विरोध किया, लेकिन टीम मंदिर तोड़ने की बात पर अड़ी रही तो वहां पर मौजूद ज्यादातर महिलायें व कुछ पुरुष जेसीबी के आगे ही लेट गये और उन्होंने कहा कि किसी भी हालत में मंदिर को टूटने नहीं दिया जाएगा और यदि प्रशासन फिर भी अपनी जिद्द पर अड़ा तो जेसीबी को सभी लोगों की लाशों के ऊपर से गुजरना पड़ेगा।
महिलाओं की भारी संख्या को देखते हुए माडल टाउन थाना प्रभारी इंस्पेक्टर योगेश कटारिया व ड्यूटी मजिस्ट्रेट ने और ज्यादा महिला पुलिस को मौके पर बुलाया, लेकिन स्थानीय लोगों का विरोध जारी रहा। विरोध कर रहे कुछ लोगों ने पत्थरों से जेसीबी का शीशा भी तोड़ दिया। शिव मंदिर तोड़ने की सूचना पर कांग्रेस के वरिष्ठ नेता बुल्ले शाह व पूर्व पार्षद सुनील वर्मा भी मौके पर पहुंचे और उन्होंने भी तोड़फ़ोड़ की कार्रवाई का कड़ा विरोध किया।
लोगों द्वारा किये जा रहे हंगामे के चलते एसडीएम धीरज चहल व डीएसपी संदीप मौके पर पहुंचे और उन्होंने भी विरोध कर रहे लोगों को मनाने का प्रयास किया, पर कोई फैसला नहीं हो पाया। स्थानीय लोगों के भारी विरोध को देखते हुए जिला प्रशासन ने टीम के वापस लौटने का फैसला लेना पड़ा और तोड़फ़ोड़ की कार्रवाई को स्थगित कर दिया गया। एसडीएम धीरज चहल ने विरोध कर रहे लोगों से कहा कि इस मामले में शुक्रवार को उपायुक्त के साथ बैठक करके कोई फैसला लिया जाएगा। वहीं कांग्रेस नेता बुल्ले शाह व सुनील वर्मा ने कहा कि सभी लोग शुक्रवार को उपायुक्त से मिलकर अपना पक्ष रखेंगे।
शुगर मिल में आता था इस पुराने रजबाहे से पानी : दिल्ली पैरलल नहर से इस रजबाहे से पानीपत शुगर मिल में पानी आता था और इसकी चौड़ाई करीब 50 फीट है। शुगर मिल के 1956 में बनने के बाद से लेकर करीब 1979 तक इस रजबाहे द्वारा शुगर मिल में पानी आता रहा और उसके बाद से रजबाहा बंद हो गया। राजबाहे की भूमि पर आसपास के लोगों ने अवैध कब्जे करके मकान बना लिये। सिंचाई विभाग अब हाईकोर्ट के आदेशों से रजबाहे की भूमि पर बने सभी अवैध निर्माणों को हटवाना चाहता है।
अवैध कब्जे हटवाकर बनवानी है सड़क :असंध रोड से लेकर बाल विकास स्कूल तक पहले ही रजबाहे की भूमि पर सड़क बना दी गई है और प्रशासन ने अब बाल विकास स्कूल से लेकर जाटल रोड तक भी अवैध कब्जे हटवाकर सड़क बनवानी है। सिंचाई विभाग के एक्सईएन सुरेश सैनी ने बताया कि पहले ही 103 लोगों को नोटिस देकर अवैध कब्जे खाली करने को कहा गया था, पर किसी ने भी स्वयं अवैध कब्जे नहीं हटाये।