ट्रिब्यून न्यूज सर्विस
चंडीगढ़, 15 मार्च
हरियाणा के शहरी स्थानीय निकायों– नगर निगमों, नगर परिषदों व नगर पालिकाओं के आय स्रोत बढ़ाने की तैयारी हो गयी है। प्रदेश में प्रॉपर्टी टैक्स की दरें बढ़ सकती हैं। साथ ही, फ्लोर वाइज प्रॉपर्टी टैक्स लगेगा। नीति आयोग की सिफारिशों के बाद सरकार ने निगमों व पालिकाओं के कानून में संशोधन किया है। निकाय मंत्री अनिल विज ने सोमवार को विधानसभा में संशोधन विधेयक पेश किये, जिन्हें ध्वनिमत से पारित कर दिया गया।
नगर पालिका (संशोधित) विधेयक पारित होने के बाद अब निकायों को बैंकों से कर्ज लेने के अधिकार मिलेंगे। निकायों की साइट्स पर विज्ञापन के लिए भी दरें तय होंगी।
बिना काॅन्ट्रेक्ट के निकायों की साइट्स पर विज्ञापन करने वालों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई होगी। संशोधित विधेयक में यह भी तय किया गया है कि जमीनों के रजिस्ट्रेशन के लिए निकायों की एनओसी अनिवार्य होगी। निकायों के सभी प्रकार के बकाया चुकता करने के बाद ही अनापत्ति प्रमाण-पत्र जारी होगा। हरियाणा नगर निगम संशोधन विधेयक-2021 भी सदन में पास हो गया। यह एक्ट बनने के समय फरीदाबाद प्रदेश में अकेला नगर निगम था। अब निगमों की संख्या 11 हो चुकी है। संशोधन के बाद निकायों में कर्मचारियों का कॉमन काडर होगा।
योग के लिए आयोग
प्रदेश सरकार योग आयोग का गठन कर चुकी है। सोमवार को आयोग की स्थापना करने के उद्देश्य से हरियाणा युवा आयोग विधेयक-2021 भी पारित किया गया।
इन विधेयकों पर होगी चर्चा
0 गृह मंत्री अनिल विज ने सोमवार को ‘संपत्ति क्षति वसूली विधेयक-2021’ सदन में पेश किया। इसके तहत आंदोलन के दौरान सरकारी व निजी संपत्ति का नुकसान करने वालों से मुआवजा वसूला जाएगा। कानून में मोटे जुर्माने के साथ सजा का भी प्रावधान रहेगा।
0 हरियाणा पंचायती राज (संशोधन) विधेयक-2021 भी टेबल कर दिया गया है।
0 ज्वाइंट पंजाब के समय से चल रहे कानूनों से पंजाब की जगह हरियाणा का नाम जोड़ने वाला विधेयक भी सदन में पेश किया गया है। यह विधेयक पारित होने पर 154 कानूनों में पंजाब की जगह हरियाणा शब्द जुड़ जाएगा।