जींद, 1 जुलाई (हप्र)
शेड्यूल के अनुसार गांव और खेतों के लिए बिजली सप्लाई नहीं मिलने पर बृहस्पतिवार को सिवाहा गांव के ग्रामीणों ने तलोडा बिजलीघर पर ताला जड़ दिया और जींद मार्ग पर जाम लगा दिया। बिजली निगम सब डिविजन पिल्लूखेड़ा के एसडीओ रमेश ने किसानों को शेड्यूल के अनुसार बिजली देने का आश्वासन देकर जाम खुलवाया।
इस दौरान धर्मबीर समेत कई ग्रामीणों ने बताया कि तीन दिन से गांव में शेड्यूल के अनुसार बिजली नहीं आ रही। जिससे लोग पशुओं के लिए चारा भी नहीं काट पा रहे। वहीं जिन किसानों ने खेतों में धान लगाई हुई है, बिजली नहीं आने के कारण धान के पौधे सूख रहे हैं। कपास, गन्ना समेत दूसरी फसलों में नुकसान हो रहा है।
वहीं, बिजली निगम जींद के एसई श्यामबीर सैनी ने कहा कि गर्मी बढ़ गई की वजह से फाल्ट आ रहे हैं। जींद सर्कल में ट्यूबवेल कनेक्शन बढ़े हैं। जिससे बिजली की खपत भी पहली बार सर्कल में प्रतिदिन एक करोड़ यूनिट के पार पहुंच गई है। ग्रामीण क्षेत्र में घरेलू बिजली सप्लाई के शेड्यूल में बदलाव किया गया है, ताकि कृषि फीडर चलाएं जा सके।
वार्ड में पेयजल समस्या, अधिकारियों ने किया मुआयना
गन्नौर (निस) : गांधी नगर के वार्ड-17 में पेयजल समस्या की विधायक को शिकायत करने के बाद बृहस्पतिवार को जनस्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों ने मौके का मुआयना किया।
विभाग के एक्सईन, एसडीओ कर्ण बहल व जेई राजेश छौक्कर ने वार्ड के लोगों को बताया कि जल्द से जल्द समस्या का समाधान करवाया जाएगा। पेयजल की नई पाइप लाइन बिछाने के बाद भी समस्या का समाधान नहीं होता है तो दूसरा टयूबवैल लगवाने की प्रयास करेंगे, लेकिन लाेगों की इस परेशानी का समाधान जरूर होगा।
4 दिन में एक बार मिलता है पानी, बिजली भी बेहाल
हिसार (हप्र) : जिले के गांव सातरोड कलां में लोगों को कई दिनों से बिजली और पानी की किल्लत का सामना करना पड़ रहा है। भयंकर गर्मी में भी 4 दिन में एक बार पीने के पानी की सप्लाई होती है। ग्रामीणों ने बताया कि गांव में पीने के पानी की कोई व्यवस्था नहीं है। लोगों को 4 किलोमीटर दूर जाकर लाडवा गांव की सीमा से पानी लाना पड़ रहा है। उन्होंने बताया कि बार-बार अधिकारियों को इस समस्या के बारे में अवगत कराने के बाद भी समस्या ज्यों की त्यों बनी हुई है। इसी तरह बिजली का भी बुरा हाल है। बार-बार पावर कट लगते हैं और उसके बाद घंटों बिजली नहीं आती। वहीं जिस दिन पानी आने की बारी होती है, उस दिन बिजली नहीं रहती। ग्रामीण दूसरे गांव से या टैंकर के सहारे दिन काट रहे हैं। इसके चलते लोगों का जीना दूभर हो गया है। ग्रामीणों ने दोनों विभागों के अधिकारियों व सरकार को चेतावनी दी कि अगर बिजली व पानी की इस समस्या का समाधान शीघ्र ही नहीं किया गया तो ग्रामीण आंदोलन करने पर मजबूर होंगे।