चंडीगढ़, 10 मई (एजेंसी)
पंजाब सरकार के एक प्रवक्ता ने कहा कि 2015 के कोटकपूरा गोलीबारी घटना की जांच पूरी करने के लिये हाईकोर्ट द्वारा तय की गई छह महीने की समयसीमा अधिकतम है और नया विशेष जांच दल (एसआईटी) उससे पहले भी जांच पूरी करने के लिये स्वतंत्र है। कांग्रेस नेता नवजोत सिंह सिद्धू ने मुख्यमंत्री अमरेंद्र सिंह पर निशाना साधते हुए कहा था कि घटना की जांच के लिये एसआईटी को छह महीने का समय देने से बेअदबी मामले के बाद पुलिस गोलीबारी की घटना में न्याय सुनिश्चित करने में ‘और देरी’ होगी। विपक्षी दलों आम आदमी पार्टी (आप) और भाजपा ने भी इस मुद्दे पर पंजाब सरकार पर निशाना साधते हुए आरोप लगाया कि वह दोषियों को बचाने और न्याय में देरी का प्रयास कर रही है। सरकार ने हाईकोर्ट के निर्देशानुसार तीन सदस्यीय नए विशेष जांच दल का गठन करके उसे छह महीने में घटना की जांच पूरी करने का निर्देश दिया था। इस विशेष जांच दल में एडीजीपी (सतर्कता ब्यूरो) एल के यादव, लुधियाना के पुलिस आयुक्त राकेश अग्रवाल और डीआईजी (फरीदकोट रेंज) सुरजीत सिंह को शामिल किया गया है। जांच दल कोटकपूरा गोलीबारी घटना के संबंध में दर्ज दो मामलों की जांच करेगी। पंजाब सरकार के एक प्रवक्ता ने कहा कि कोटकपूरा गोलीबारी घटना की जांच पूरी करने के लिये एसआईटी को छह महीने की समयसीमा सरकार ने नहीं बल्कि हाईकोर्ट ने दी है। प्रवक्ता ने कहा कि अदालत ने एसआईटी को छह महीने से पहले जांच पूरी करने से नहीं रोका है बल्कि यदि संभव हो तो वह दो महीने में भी जांच पूरी कर सकती है।