चंडीगढ़ 14 जून (ट्रिन्यू)
हरियाणा के परिवहन तथा महिला एवं बाल विकास मंत्री असीम गोयल ने कहा कि बच्चे मन के सच्चे होते हैं। उनमें स्वयं भगवान का वास होता है। इसलिए बच्चों का भविष्य सुरक्षित रखने के लिए अभिभावकों को उनके संरक्षण के साथ-साथ बाल अधिकारों का भी ख्याल रखना चाहिए। वे शुक्रवार को पंचकूला स्थित पीडब्ल्यूडी रेस्ट हाउस में हरियाणा राज्य बाल संरक्षण आयोग द्वारा ‘बाल एवं बंधुआ मजदूरी’ पर आयोजित एक दिवसीय राज्य स्तरीय कार्यशाला को सम्बोधित कर रहे थे।
गोयल ने कहा कि किसी भी नागरिक को बच्चों का बचपन छीनने का अधिकार नहीं है। हरियाणा राज्य बाल संरक्षण आयोग भी बच्चों के अधिकारों की रक्षा करने और उनके सपनों को बिना बाधा के उड़ान भरने के लिए कार्य कर रहा है ताकि बच्चे पूर्ण रूप से आगे बढ़ सकें। उन्होंने कहा कि जिस प्रकार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ अभियान चलाकर प्रदेश में लिंगानुपात की स्थिति को सुधारने का कार्य किया। उसी प्रकार बाल श्रम एवं बंधुआ मजदूरी के खिलाफ भी विशेष अभियान चलाकर इसे समाप्त करने के लिए सभी को आगे आना होगा। इस अभियान से जुड़कर एक बेटी को भी अपनाने का संकल्प लेना चाहिए ताकि बेटियों का भविष्य भी सुरक्षित हो सके। उन्होंने कहा कि हमारे शास्त्रों में एक बेटी का कन्यादान हजारों गोदान से भी बढ़कर माना है।