चंडीगढ़, 19 जुलाई (ट्रिन्यू)
पिछले दो दिन से हरियाणा सरकार पर दबाव बना रहे निर्दलीय विधायक नयनपाल रावत मुख्यमंत्री नायब सैनी से मिलने के कुछ समय बाद ही यू-टर्न ले गए और फिर पूर्व मुख्यमंत्री एवं केंद्रीय मंत्री ने मोर्चा संभालकर उन्हें शांत किया। नयनपाल रावत द्वारा समर्थन वापस लिए जाने को लेकर तीन दिन से चल रहे हाईवोल्टेज ड्रामे का एक बार पटाक्षेप हो गया है, लेकिन शुक्रवार को सचिवालय के गलियारों में अधिकारियों के बीच यह चर्चा का विषय बना रहा।
केंद्रीय ऊर्जा मंत्री मनोहर लाल बृहस्पतिवार को देरशाम चंडीगढ़ पहुंचे थे, जिसके बाद रात्रि के समय नयनपाल रावत ने मनोहर लाल से मुलाकात की। सूत्रों की मानें तो करीब एक घंटा चली इस मुलाकात में नयनपाल रावत ने अपने कई मुद्दों को मनोहर लाल के सामने रखा।
हरियाणा की भाजपा सरकार इस समय विधानसभा में संख्या बल के आधार पर अल्पमत में चल रही है। निर्दलीय विधायकों में अब केवल नयनपाल रावत ही ऐसे विधायक हैं जो सरकार को समर्थन दे रहे हैं। पिछले दो-तीन दिनों से रावत द्वारा समर्थन वापस लिए जाने की खबरें बड़ी तेजी से चल रही हैं। बुधवार को हरियाणा विधानसभा के स्पीकर ज्ञान चंद गुप्ता ने नयनपाल रावत के साथ मुलाकात की। इसके बाद रावत की मुख्यमंत्री नायब सैनी से मुलाकात हुई। इस मुलाकात के बाद खबरें आई कि सबकुछ सामान्य हो गया है। इसके बावजूद देर रात फिर से रावत चंडीगढ़ पहुंचे और उन्होंने केंद्रीय मंत्री मनोहर लाल के साथ मुलाकात की। बताया जाता है कि इस मुलाकात के दौरान रावत ने अपने हलके के कई प्रोजेक्ट का मुद्दा उठाया है। ये प्रोजेक्ट मनोहर सरकार के समय से लंबित पड़े हुए हैं। कई विभागों के फाइलें क्लीयरेंस के लिए अटकी हुई हैं। जिसके चलते मनोहर लाल ने एक सप्ताह के भीतर सबकुछ सामान्य होने का आश्वासन देकर रावत को शांत किया है। बताया जाता है कि सीएमओ के एक अधिकारी की ड्यूटी लगाई है कि वह रावत समेत अन्य विधायकों के पुराने लंबित पड़े मामलों का रिव्यू करके उन्हें क्लीयर करवाएं।