कुमार मुकेश/हप्र
हिसार, 25 जुलाई
मुख्यमंत्री नायब सैनी ने नगर निगम, नगर परिषद व नगर पालिकाओं के पार्षदों की शक्तियां बढ़ाने और बैठक भत्ते की शुरुआत करने की घोषणा की है। उन्होंने कहा कि पार्षद अपने वार्ड का बजट तैयार कर सकेंगे और इसके लिए वार्ड कमेटी बनाई जाएगी। इस कमेटी के गठित होने तक कमेटी की फुल पावर अब संबंधित वार्ड के पार्षद के पास होगी।
मुख्यमंत्री बृहस्पतिवार को गुरु जंभेश्वर विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय के रणबीर ऑडिटोरियम में आयोजित राज्य स्तरीय शहरी स्थानीय निकायों के जनप्रतिनिधियों के सम्मेलन को संबोधित कर रहे थे। मुख्यमंत्री ने शहरी स्थानीय निकाय राज्य मंत्री सुभाष सुधा के नेतृत्व में नगर निकाय प्रतिनिधियों के मानदेय में बढ़ोतरी करने के लिए एक समिति गठित करने की भी घोषणा की। उन्होंने कहा की यह समिति सभी से विचार विमर्श कर जल्द ही अपनी रिपोर्ट देगी। शहरी स्थानीय निकाय राज्य मंत्री सुभाष सुधा, स्वास्थ्य मंत्री कमल गुप्ता, भाजपा प्रदेश अध्यक्ष मोहन लाल बड़ौली, डिप्टी स्पीकर रणबीर गंगवा, हांसी विधायक विनोद भयाना, बरवाला से जजपा विधायक जोगीराम सिहाग आदि प्रमुख रूप से उपस्थित थे।
मुख्यमंत्री ने कहा कि जब तक वार्ड कमेटी में सचिव की नियुक्ति नहीं होती या किसी कारण सचिव बैठक से अनुपस्थित हो तो, ऐसी स्थिति में पार्षद के पास किसी भी ग्रेजुएट से बैठक की कार्यवाही बनवाने के लिए 1000 रुपए प्रति बैठक का पारिश्रमिक देने का अधिकार भी होगा। इसके अतिरिक्त, वार्ड कमेटी की प्रत्येक तिमाही बैठक के लिए पार्षद को बतौर चेयरमैन बैठक भत्ता भी दिया जाएगा। नायब सिंह ने कहा कि अब से तिमाही बैठक में शामिल होने के लिए नगर पालिका के पार्षद को 1600 रुपए का बैठक भत्ता राशि मिलेगी। इसी प्रकार, नगर परिषद के पार्षद को 2400 रुपए तथा नगर निगम के पार्षद को 3000 रुपए की भत्ता राशि मिलेगी। इसके अतिरिक्त, 15 अगस्त और 26 जनवरी के कार्यक्रम में मुख्यमंत्री या केंद्रीय मंत्री के आगमन पर नगर निगम को 30 हजार, नगर परिषद पार्षद को 20 हजार व नगर पालिका के पार्षद को दस हजार रुपये कार्यक्रम आयोजित करने के लिए प्रदान किए जाएंगे। उन्होंने कहा कि अब विभिन्न विभागों के सम्बंधित कर्मचारियों को भी वार्ड कमेटी की बैठक में शामिल होना अनिवार्य होगा। पालिकाओं के पार्षदों को आयुष्मान भारत-चिरायु योजना के तहत चिकित्सा सुविधाओं का लाभ भी मिलेगा। उन्होंने पार्षदों को शहरों की सरकार बताते हुए कहा कि वर्तमान राज्य सरकार शहरों और कस्बों में आधारभूत सरंचना को सुदृढ़ बनाने पर विशेष बल दे रही है।
….जिनके खुद के खाते खराब हैं वो हमारा हिसाब लिए फिरते हैं
मुख्यमंत्री सैनी ने कहा कि विपक्ष के लोग आज हमसे हिसाब मांगते हैं, जबकि जनता ने ही उन्हें तीसरी बार विपक्ष में बैठाकर हिसाब दे दिया है। उन्होंने शायराना अंदाज में कहा- वे दिल में कसक और चेहरे पर नकाब लिए फिरते हैं, जिनके खुद के खाते खराब हैं वो हमारा हिसाब लिए फिरते हैं।
उन्होंने कहा कि पिछली सरकार के समय नौकरियों की बोली लगती थी और पैसे वाले नौकरियां ले जाते थे, हमारी सरकार मेरिट पर नौकरी दे रही है।
कपास की फसलों में हुए नुकसान के लिए मुआवजा जारी
चंडीगढ़ (ट्रिन्यू): हरियाणा सरकार ने खरीफ-2023 के दौरान कपास में हुए नुकसान की भरपाई के लिए प्रभावित किसानों को 65 करोड़ रुपये का मुआवजा दिया है। बृहस्पतिवार को सरकार ने मुआवजा राशि जारी कर दी। साथ ही, सरकार ने किसानों को कृषि यंत्रों की खरीद के लिए 101 करोड़ रुपये की सब्सिडी राशि भी रिलीज की है। यह पैसा सीधा किसानों के बैंक खातों में ट्रांसफर किया है। राज्य के कृषि मंत्री कंवर पाल गुर्जर ने बृहस्पतिवार को यहां बताया कि कलस्टर-।। के सात जिलों – अंबाला, हिसार, गुरुग्राम, जींद, करनाल, महेंद्रगढ़ व सोनीपत में किसानों की कपास की फसलों में नुकसान हुआ था। सरकार ने किसानों के नुकसान की भरपाई के लिए हरियाणा फसल सुरक्षा योजना लागू की हुई है। इसी के तहत 15 हजार 314 प्रभावित किसानों के बैंक खातों में 65 करोड़ रुपये का मुआवजा भेजा है।