संगरुर, 30 जुलाई (निस)
पटियाला विश्वविद्यालय के नेबरहुड कालेज और कांस्टीचुएंट कॉलेजों में कार्यरत सहायक प्रोफेसरों (गेस्ट फैकल्टी) द्वारा डीन कार्यालय पर धरना आज नौवें दिन भी जारी रहा। आज यूनिवर्सिटी में असिस्टेंट प्रोफेसरों ने अपनी ऊंची डिग्रियों की कापियां फूंक कर रोष प्रदर्शन किया और यूनिवर्सिटी अथॉरिटी के खिलाफ बड़ा मार्च निकाला गया। इस दौरान उन्होंने यूनिवर्सिटी में अलग-अलग जगहों पर लोगों को समझाया कि वे अपनी डिग्रियों की कापियां क्यों फूंक रहे हैं और उन्होंने लोगों को यह भी बताया कि डिग्रियां होने के बावजूद वे सड़कों पर उतरने को मजबूर हैं। इन प्रोफेसरों द्वारा उनके नेट, एमफिल और पीएचडी की डिग्री की कापियों को आग के हवाले कर दिया गया। इस मौके पर प्रोफेसर कुलदीप सिंह ने कहा कि पंजाब सरकार उच्च शिक्षा को बर्बाद करने की कोशिश कर रही है और पढ़े-लिखे लोगों को हड़ताल पर जाने के लिए मजबूर कर रही है। प्रोफेसर अमन ने बताया कि विश्वविद्यालय के वीसी और डीन अपनी मनमानी कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि वीसी सरकार ने एक उच्च सचिव की नियुक्ति कर दी है जिसका काम उच्च शिक्षा को बढ़ावा देना है जबकि केके यादव प्रोफेसरों को सड़कों पर उतार कर उच्च शिक्षा का पतन करने पर मजबूर कर रहे हैं जिन प्रोफेसरों ने इंटरव्यू दिया है, वे दोबारा इंटरव्यू दे। बता दें कि यूनिवर्सिटी प्रशासन गेस्ट फैकल्टी शिक्षकों के इंटरव्यू के बहाने पहले से काम कर रहे शिक्षकों को हटा रहा है, जबकि सुप्रीम कोर्ट के फैसले के मुताबिक किसी कच्चे कर्मचारी की जगह कोई कच्चा कर्मचारी नहीं ले सकता।
पंजाब के कई किसान, मजदूर और कर्मचारी संगठन भी इस हड़ताल का समर्थन कर रहे हैं। यूनियन नेताओं ने कहा कि अगर उनकी मांगें न मानी गईं तो वे आने वाले दिनों में संघर्ष को और तेज करेंगे और भाईचारा संगठनों के साथ मिलकर पंजाब सरकार से मोर्चा लेंगे।