शिमला, 9 सितंबर (हप्र)
हिमाचल प्रदेश में पावर प्रोजेक्ट चला रहे पूंजीपति या उद्यमी प्रदेश के लोगों को पानी से वंचित नहीं रख सकते हैं। सरकार ऐसा होने नहीं देगी और इसे लेकर जो भी कदम उठाने पड़ेंगे, वह उठाएगी। यह बात उप मुख्यमंत्री मुकेश अग्निहोत्री ने सोमवार को विधानसभा में नियम-62 के तहत विधायक विपिन सिंह परमार द्वारा जिया-बड़सर घनेता की सिंचाई योजना कथुल्ल कूहल की पाइपें फट जाने पर सदन में लाए गए ध्यानाकर्षण प्रस्ताव पर हुई चर्चा का जवाब देते हुए कही।
उपमुख्यमंत्री ने कहा कि कांगड़ा में कूहलों को बचाने के लिए सरकार व्यापक रिपोर्ट तैयार करेगी। अग्निहोत्री ने कहा कि विपिन परमार जिस योजना की बात कर रहे हैं वह योजना इनकी सरकार के कार्यकाल में बनी और उसका उद्घाटन भी इन्होंने ही किया। उन्होंने कहा कि योजना तीन विधानसभा क्षेत्र से जुड़ी हुई है और इनके क्षेत्र में देरी से पानी पहुंचता है। अग्निहोत्री ने कहा कि 18 किमी इस कूहल में 5 किलोमीटर क्षेत्र में समस्या है। इस समस्या को दूर करने के लिए वह डीसी कांगड़ा को और विभाग के अधिकारियों को साइट विजिट करने के निर्देश देंगे। उन्होंने कहा कि विधायक विपिन सिंह परमार ने जिस कूहल का जिक्र किया है, उसकी मरम्मत के लिए 45 लाख रुपए का प्रस्ताव तैयार किया है।