चंडीगढ़, 6 नवंबर (ट्रिन्यू)
पूर्व केंद्रीय मंत्री पंडित विनोद शर्मा की मुहिम को उनके बेटे व राज्यसभा सांसद कार्तिकेय शर्मा सिरे चढ़वाने में कामयाब रहे हैं। प्रदेश की नायब सरकार ने राज्य में धौली की जमीन का मालिकाना अधिकार ब्राह्मण समाज को दे दिया है। इसके बाद अब ब्राह्मण धौली में मिली जमीन भी बेच सकते हैं। पूर्व की हुड्डा सरकार के समय धौली की जमीन का मालिकाना हक दिया गया था। पूर्व मंत्री विनोद शर्मा की भी इसमें भूमिका रही।
हालांकि यह मामला लटक गया था। 11 दिसंबर, 2022 को करनाल में आयोजित भगवान परशुराम महाकुंभ में राज्यसभा सांसद कार्तिकेय शर्मा ने उस समय मुख्यमंत्री मनोहर लाल के सामने यह मामला उठाया था। मुख्यमंत्री ने महाकुंभ में ही धौली की जमीन का मालिकाना हक देने का ऐलान कर दिया था। अब राजस्व विभाग ने नियमों में संशोधन के बाद नोटिफिकेशन जारी कर दिया है। धौली की करीब 1700 एकड़ जमीन का मालिकाना हक अब मिलेगा। मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने पूर्व सीएम की घोषणा को सिरे चढ़ाया है। हरियाणा सरकार के वित्तीय आयुक्त, राजस्व एवं अतिरिक्त मुख्य सचिव ने उपायुक्तों को आदेश दिया था कि हरियाणा धौलीदार, बूटीमार, भोंडेदार और मुकररिदार (मालिकाना अधिकार निहित करना) अधिनियम में संशोधन किया गया है। इसके तहत किसी निजी व्यक्ति/संस्था की जमीन को धौलीदारों आदि में निहित कर दिया था। दान में दी गई जमीन को बेचने पर कोई प्रतिबंध नहीं होगा।सांसद कार्तिकेय शर्मा ने नोटिफिकेशन पर सीएम नायब सिंह सैनी व केंद्रीय मंत्री मनोहर लाल का आभार जताते हुए कहा कि सांसद बनने के बाद ब्राह्मण समाज के लोग लगातार यह मांग उनके सामने रख रहे थे। उन्होंने इस मांग को सरकार तक पहुंचाने का काम किया और आखिरकार करनाल में आयोजित ब्राह्मण महाकुंभ में पूर्व सीएम ने इस मांग पर अपनी मुहर लगा दी थी। अब नायब सरकार ने इसे लागू करने की अधिसूचना जारी की है।