हिसार, 16 नवंबर (हप्र)
दयानंद महाविद्यालय, हिसार में शनिवार को इतिहास विभाग के तत्वावधान में दो दिवसीय हरियाणा इतिहास कांग्रेस के नौवें अधिवेशन का शुभारंभ हुआ। इस अधिवेशन में गुरू जंभेवर विश्वविद्यालय हिसार के कुलपति प्रो. नरसीराम बिश्नोई ने पुरातत्व एवं संग्रालय विभाग हरियाणा तथा अभिलेखागार विभाग हरियाणा की प्रदर्शनी का उद्घाटन किया। इस प्रदर्शनी में राखीगढ़ी, बनावली, और मित्ताथल जैसे स्थानों से प्राप्त पुरातात्विक अवशेषों का संग्रहण किया गया है, जो हड़प्पा सभ्यता के इस क्षेत्र में उन्नत शहरीकरण का प्रमाण हैं।
महाविद्यालय में इतिहास के विभागाध्यक्ष व संयुक्त आयोजन सचिव डॉ. महेन्द्र सिंह ने बताया कि अधिवेशन में इतिहास विषय पर भारत के 12 राज्यों व साउथ कोरिया के शोधार्थियों द्वारा शोध पत्र प्रस्तुत किये गए। प्रो. नरसीराम बिश्नोई ने युवाओं को हरियाणा की समृद्ध परंपराओं एवं गौरवशाली इतिहास से प्रेरणा पाकर आगे बढ़ने पर बल दिया। महाविद्यालय प्राचार्य डॉ. विक्रमजीत सिंह ने अतिथियों का स्वागत करते हुए हरियाणा इतिहास कांग्रेस द्वारा हरियाणा विरासत को बचाने पर बल दिया। उन्होंने बताया कि इस अधिवेशन में विधार्थियों को हरियाणा के प्राचीन, मध्यकालीन एवं आधुनिक इतिहास की गौरवशाली एवं समृद्ध परंपराओं की गहन जानकारी मिलेगी क्योकि शोधार्थी व विशेषज्ञ इस बारे में मंथन करेंगे।
अधिवेशन को संबोधित करते हुए हरियाणा इतिहास कांग्रेस के जनरल अध्यक्ष व दिल्ली विश्वविद्यालय के प्रो. अनिरूद्ध देशपांडे ने हरियाणा के अतीत व वर्तमान को खुशहाल तथा भविष्य को उज्ज्वल बताया। प्राचीन अनुभागीय अध्यक्ष व आईआईटी गांधीनगर गुजरात में पुरातत्व विज्ञान सेंटर के एसोसिएट प्रोफेसर वीएन प्रभाकर ने युवा शोधकर्ताओं से हरियाणा विरासत स्थलों शोध की संभावनाओं पर प्रकाश डाला। उन्होंने इतिहास पर शोध करने की प्रेरणा दी।
इस अवसर पर हरियाणा इतिहास कांग्रेस के सह-संयोजक डॉ. अनिल यादव व इतिहास विभाग की प्राध्यापिका डॉ. सुरूचि शर्मा, सभी शिक्षकगण व गैर-शिक्षकगण मौजूद रहे।