कुमार मुकेश/हप्र
हिसार, 31 जुलाई
कोरोना की मोबाइल डायल ट्यून की पहली लाइन ‘हमें बीमारी से लड़ना है, बीमार से नहीं’ को हम सभी सुनते हैं लेकिन अधिकतर इसको मानते नहीं हैं। लोग बीमारी से ज्यादा स्वस्थ हो चुके बीमार से लड़ रहे हैं। हालात यह हैं कि कोरोना को मात देकर घर लौटने वाले लोगों को पड़ोसी सामाजिक कलंक की तरह देख रहे हैं। इस व्यवहार के कारण जहां एक महिला को अपनी नौकरी से इस्तीफा देना पड़ा, वहीं कइयों को किराये का मकान भी खाली करना पड़ा।
‘दैनिक ट्रिब्यून’ ने जब कोरोना को मात देने वाले लोगों से बात की तो यह खुलासा हुआ। हिसार के सबसे पहली कोरोना पॉजिटिव महिला के पति ने बताया कि शुरुआत में तो काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ा लेकिन अब तीन माह बाद सबकुछ सामान्य हो रहा है। उन्होंने कहा कि समाज से लड़ना बीमारी से लड़ने से भी ज्यादा मुश्किल रहा है।
वहीं, ठीक हुए एक किशोर ने बताया कि वह हर दिन सुबह व्यायाम के लिए जाता था। निर्धारित क्वारंटाइन अवधि पूरी करने के बाद जब उसने अपने दोस्तों से बात की तो उन्होंने स्पष्ट मना कर दिया। इस किशोर के पिता ने बताया कि उनके एक जानकार सेक्टर-14 में एक किराए के मकान में रहते थे और पॉजिटिव हो गए। ठीक होने के बाद मकान मालिक ने उनसे मकान खाली करवा लिया।
इसी प्रकार कोरोना पॉजिटिव व्यक्ति की पत्नी ने बताया कि वह एक बैंक में काम करती है। पति के ठीक होने व क्वारंटाइन अवधि पूरी करने के बाद जब वह बैंक में ड्यूटी के लिए गई तो साथी कर्मचारियों का व्यवहार काफी बदल गया। परेशान होकर उसने इस्तीफा दे दिया। हालांकि बाद में एचआर ने मामला सुलझा दिया। एक अन्य युवक ने बताया कि वह हिसार में किराए के मकान में रह रहा है। कोरोना को मात देने के बाद वापस घर लौटा तो पड़ोसियों ने उनके मकान मालिक से मकान खाली करवाने के लिए दबाव बनाया। हालांकि मकान मालिक ने ऐसा करने से मना कर दिया।
ज्यादती हो तो दें शिकायत : डीसी
इस बारे में उपायुक्त डॉ. प्रियंका सोनी ने कहा कि अस्पताल से छुट्टी मिलने व क्वारंटाइन अवधि पूरी होने के बाद स्वस्थ होने वाला व्यक्ति कहीं पर भी जा सकता है। फिर भी इस बीमारी पर रिसर्च जारी है और लोग भी डरे हुए हैं। फिजिकल डिस्टेंसिंग, मास्क आदि का प्रयोग करना, पॉजिटिव होने के बाद स्वस्थ होने वालों पर भी लागू होती है। उनको भी थोड़े दिन इस बात का ध्यान रखना चाहिए। फिर भी यदि किसी को नौकरी छोड़नी पड़े या मकान खाली करने जैसी नौबत आती है तो वे प्रशासन को शिकायत कर सकते हैं, ऐसा नहीं होने दिया जाएगा।