चंडीगढ़: चालू बजट सत्र में हरियाणा विधानसभा के लिए ड्रेस कोड संदेश है अनुशासन का और टीम भावना का। अनुशासन के प्रति गंभीर स्पीकर ज्ञानचंद गुप्ता के निर्देश पर चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी से लेकर प्रथम श्रेणी के अधिकारी तक के लिए ड्रेस कोड निर्धारित किया गया है। सत्र के दौरान सदन में ड्यूटी देने वाले ऑफिस टेबल के अधिकारी, रिपोर्टर स्टाफ, सुरक्षा कर्मियों और सदन में सेवारत सहायक स्टाफ के लिए ही ड्रेस कोड लागू किया गया है। ग्रुप-ए के अधिकारी गर्मियों में फॉर्मल पैंट-शर्ट के साथ टाई तथा सर्दियों में ब्लेजर भी डालेंगे। ये अधिकारी वर्दी का खर्च स्वयं वहन करते हैं। ग्रुप-बी के पुरुष अधिकारी गर्मियों में सफेद कमीज और ग्रे रंग पैंट पहनेंगे। सर्दियों में इसके साथ ग्रे रंग का ब्लेजर, प्लेन नेवी ब्लू रंग की टाई तय की है। इस श्रेणी समूह की महिला अधिकारी गर्मियों में पूरा लीफ ग्रीन रंग का सूट दुपट्टा डालेंगी। सर्दियों में इसके साथ बेज रंग का ब्लेजर या कार्डिगन डालेंगी।
ग्रुप-सी के पुरुष कर्मचारियों के लिए गर्मियों में ऑफवाइट रंग की कमीज व ग्रे ब्लू रंग पैंट निर्धारित की है। सर्दियों में ये कर्मचारी ग्रे ब्लू रंग का ब्लेजर भी पहनेंगे। महिला कर्मचारी गर्मियों में स्काई ब्लू रंग का सूट/दुपट्टा तथा सर्दियों में इसके साथ बेज रंग का ब्लेजर/कार्डिगन डालेंगी। ग्रुप-डी के कर्मचारी ब्लैक ग्रे रंग की पैंट-कमीज तथा सर्दियों में इसके साथ नेवी ब्लू रंग का स्वेटर डालेंगे। पुरुष सीनियर प्रतिवेदक एवं प्रतिवेदक गर्मियों तथा सर्दियों में बंद गले वाला ब्लू रंग का सूट डालेंगे तथा महिला स्टाफ लाइट ब्लू रंग की साड़ी या सूट के साथ ब्लू रंग का ब्लेजर/कार्डिगन पहनेंगी। सभी अधिकारियों-कर्मचारियों के लिए फॉर्मल काले रंग के जूते तय किए हैं, जो वे अपने खर्च से खरीदेंगे। महिला स्टाफ को कुछ छूट देते हुए कहा गया है कि वे सूट और सलवार की जगह उसी रंग की साड़ी भी पहन सकती हैं। अगर कोई महिला साड़ी पहनना चाहेगी तो उसे अपने खर्च से खरीदनी होगी। जो भी अधिकारी-कर्मचारी पगड़ी पहनते हैं वे नेवी ब्लू रंग की पगड़ी पहनेंगे।
कई अभिनव प्रयोग, नूतन परम्पराएं हुईं शुरू
ज्ञानचंद गुप्ता ने 4 नवंबर, 2019 में हरियाणा विधानसभा अध्यक्ष की जिम्मेदारी संभालने के बाद से कई अभिनव प्रयोग व नूतन परम्पराएं शुरू की हैं। इन प्रयोगों और परम्पराओं से विधानसभा के सचिवालय से लेकर सदन तक की कार्यप्रणाली में आमूलचूल सुधार हुए हैं। डिजीटलाइजेशन के दौर में विधान भा की कार्य-प्रणाली को पेपरलैस किया जा चुका है। उन्होंने विधानसभा के सत्रों का टेलीविजन चैनलों के माध्यम से सीधा प्रसारण शुरू करवाया। विधानसभा ने अपने गठन के 56 वर्ष बाद पूरा कामकाज हिंदी में शुरू किया है। हरियाणा विधानसभा में सर्वश्रेष्ठ विधायक पुरस्कार पुन: शुरू किया गया है। एक सर्वदलीय समिति निर्धारित मानकों के आधार पर सर्वश्रेष्ठ विधायक का चयन करती है। विधानसभा सचिवालय में अनुशासन स्थापित करने के लिए ज्ञानचंद गुप्ता अनेक अभिनव प्रयोग कर चुके हैं। इनमें बायोमेट्रिक उपस्थिति, मूवमेंट रजिस्टर, सभी कर्मचारियों के लिए पहचान पत्र अनिवार्य करने जैसे प्रयोग प्रमुख हैं।
-दिनेश कुमार