ट्रिब्यून न्यूज सर्विस
चंडीगढ़, 13 नवंबर
सीएमओ (मुख्यमंत्री कार्यालय) की कार्यशैली से नाराज चल रहे गृह एवं स्वास्थ्य मंत्री अनिल विज ने आईपीएस अधिकारी हेमंत कलसन के मामले में सरकार से अलग ही सिफारिश कर दी है। मुख्यमंत्री चाहते हैं कि हेमंत कलसन को रिटायर कर दिया जाए। वहीं गृह मंत्री होने के नाते विज ने उन्हें बहाल करने की सिफारिश कर दी है। यहां बता दें कि सीएमओ और विज के बीच टकराव अभी खत्म नहीं हुआ है।
विज की नाराज़गी सीएमओ के अधिकारी को लेकर है।
दरअसल, इन अधिकारी ने विज को विश्वास में लिए बिना स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों की बैठक ली थी। विज ने अब हेमंत कलसन को बहाल करने की सिफारिश करके सियासी व प्रशासनिक गलियारों में चर्चाओं के लिए नया मुद्दा दे दिया है। अकसर चर्चाओं में रहने वाले आईपीएस हेमंत कलसन पर जनवरी में शराब के नशे में पंचकूला के पिंजौर निवासी एक महिला के घर में जबरन घुसकर मारपीट करने के आरोप हैं।
इससे पहले भी कलसन ने सेक्टर-6 स्थित नागरिक अस्पताल में नर्स के साथ अभद्र व्यवहार किया था। पिंजौर में एक दुकानदार को पीटने का भी मामला दर्ज हुआ था। इसके अलावा शराब के नशे में मां-बेटी के साथ मारपीट का मामला भी हेमंत कलसन पर दर्ज है।
कलसन की आए दिन आ रही शिकायतों को देखते हुए सरकार ने उनके इस व्यवहार के मद्देनजर मामले की जांच-पड़ताल व समीक्षा को लेकर मुख्य सचिव संजीव कौशल के नेतृत्व में दो साल पहले एक उच्च स्तरीय कमेटी का गठन किया था।
इसके बाद कलसन को प्री-मैच्योर रिटायरमेंट देने की सिफारिश रुल 18 (3) ऑल इंडिया सर्विसेज डेथ कम रिटायरमेंट बेनिफिट्स के तहत की गई। मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने भी कमेटी की सिफारिश को मंजूरी दे दी।
अभी तक सरकार की ओर से उनके प्री मैच्योर रिटायरमेंट को लेकर कोई फैसला अभी तक नहीं लिया है। इस बीच हेमंत कलसन ने हाल ही में गृहमंत्री अनिल विज के सामने एक प्रेजेंटेशन दी थी। इसमें उन्होंने कहा था कि उन्होंने शराब छोड़ दी है और अपने व्यवहार में भी परिवर्तन लाए हैं। इसके बाद उन्होंने विज से एक मौका मांगा था। विज ने भी प्रेजेंटेशन के आधार पर उन्हें एक मौका देने की सीएम से सिफारिश की है। अब इस मामले में जो भी फैसला होगा वह सीएम के द्वारा किया जाएगा।