उचाना, 6 अप्रैल (निस)
जींद में सीएम नायब सैनी का विरोध करने जा रहे किसानों को किसी तरह पुलिस प्रशासन ने रोका और किसानों के प्रतिमंडल की सीएम से मुलाकात करवाने का आश्वासन दिया। उपमंडल कार्यालय के पास धरने पर बैठे किसानों ने सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी की।
सीएम से किसानों को मिलवाने का एसपी जींद सुमित कुमार द्वारा मोबाइल फोन पर बातचीत करके आश्वासन देने पर किसान माने। उचाना, नरवाना, जींद धरने से दो-दो किसान इस कमेटी में शामिल हुए। कमेटी में नरवाना मा. बलबीर सिंह, शमशेर अंबरसर, उचाना से आजाद पालवां, राममेहर बुडायन, जींद से बारूराम जिला प्रधान बीकेयू टिकैत, छज्जूराम कंडेला को शामिल किया गया जो सीएम से मिलकर मांगों को लेकर मांग पत्र देंगे।
संयुक्त किसान मोर्चा उचाना की अगुवाई में शनिवार को उपमंडल कार्यालय में चल रहे धरने पर बड़ी संख्या में किसान एकत्रित हुए। यहां फैसला लिया गया कि जींद में सीएम नायब सिंह सैनी जनसभा करने आ रहे है। किसान जींद जाकर सीएम का विरोध करेंगे। स्थानीय प्रशासन को इसकी जानकारी मिली तो पुलिस अमला उपमंडल कार्यालय के पास पहुंचा। किसानों को जींद जाने से रोका। पुलिस प्रशासन की मौजूदगी में किसानों ने सरकार के खिलाफ नारेबाजी की और जींद जाने की मांग पर अड़े रहे लेकिन पुलिस ने किसानों को जींद नहीं जाने दिया। एसपी जींद सुमित कुमार की किसान नेताओं के साथ मोबाइल पर बातचीत के बाद किसान का प्रतिनिधिमंडल सीएम से मिलने के लिए जींद रवाना हुए। आजाद पालवां ने बताया कि एसपी ने मोबाइल फोन पर बातचीत करके किसानों की कमेटी को सीएम से मिलवाने का आश्वासन दिया। किसानों ने एसपी के आश्वासन पर सीएम के विरोध का फैसला वापिस लिया। किसानों की कमेटी सीएम को मांग पत्र देगी।
थाने में सीएम के खिलाफ दी शिकायत
रतिया (निस) : पगड़ी संभाल जट्टा किसान संघर्ष समिति ने शहर थाने में शिकायत देकर आरोप लगाया कि मुख्यमंत्री ने रतिया रैली के दौरान किसानों को उपद्रवी कहकर संबोधित किया है। जिससे उनकी भावनाएं आहत हुई हैं, इसलिए मुख्यमंत्री के खिलाफ उचित कार्रवाई की जाए। पगड़ी संभाल जट्टा संघर्ष समिति के प्रदेश अध्यक्ष मनदीप सिंह नथवान के नेतृत्व में शनिवार को कई किसान शहर थाना अध्यक्ष से मिले और उन्हें शिकायत देकर आरोप लगाया कि 5 अप्रैल को रतिया की अनाज मंडी में आयोजित एक रैली में मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने किसानों के खिलाफ टिप्पणी की। । इन किसानों ने शिकायत में कहा कि किसान अन्नदाता है और मुख्यमंत्री जैसे संवैधानिक पद पर रहते हुए उन्होंने किसानों को ऐसा कहकर किसानों की भावनाओं को ठेस पहुंचाई है। इसलिए मुख्यमंत्री के खिलाफ उचित कार्रवाई की जाए।