नरेश कुमार/निस
ऐलनाबाद, 30 अगस्त
हरियाणा की सीमा से सटे राजस्थान के धार्मिक, ऐतिहासिक एवं पवित्र स्थल गोगामेड़ी में उत्तरी भारत के सबसे बड़े सांप्रदायिक सौहार्द के प्रतीक गोगामेड़ी मेले का बुधवार को विधिवत पूजा-अर्चना तथा झंडारोहण के साथ शुभारंभ किया गया। कोरोना तथा लंपी डिजीज के कारण पिछले वर्षों में गोगामेड़ी में पशु मेला आयोजित नहीं किया गया था, इस बार पशु मेले का भी शुभारंभ किया गया। इस अवसर पर देवस्थान विभाग और पशुपालन विभाग ने संयुक्त रूप से गोगामेड़ी मेले का उद्घाटन समारोह गोगामेड़ी में आयोजित किया।
शुभारंभ अवसर पर इस अवसर पर भादरा विधायक बलवान पुनिया, नोहर एडीएम श्रीमती चंचल वर्मा, नोहर पंचायत समिति प्रधान श्री सोहन ढील, श्री मंगेज चौधरी, नोहर एसडीएम सत्यनारायण सुथार, भादरा एसडीएम श्रीमती शकुंतला चौधरी, नोहर एडिशनल एसपी श्री सुरेश जांगिड़, पशुपालन विभाग संयुक्त निदेशक डॉ. शुचिता चटर्जी, गोगामेड़ी सरपंच महंत रूपनाथ, देवस्थान विभाग सहायक आयुक्त सहित मेले में नियुक्त कर्मचारी और अधिकारियों ने पूजा-अर्चना कर राष्ट्रीय ध्वजारोहण किया। मेला 29 सितंबर तक चलेगा। इस बार का मुख्य पर्व गोगानवमी 7, 8 सितंबर को मनाया जाएगा। भादरा विधायक बलवान पूनिया ने कहा कि गोगामेड़ी मेले 2018 में दुकानों की नीलामी से 1.75 करोड़ का राजस्व मिला था जो कि 2023 में बढ़कर 5.25 करोड़ हो गया है। मेले के लिए अभी राज्य सरकार ने 8.50 करोड रुपए का बजट स्वीकृत किया है, जिससे मेले में स्थाई बैरिकेडिंग बनेगी, बैरिकेडिंग के ऊपर शेड बनेगी, टेंट लगाने की आवश्यकता नहीं रहेगी तथा इंटरलोक से सुविधाओं में बढ़ोतरी होगी। 2 वर्ष बाद गोगामेड़ी मेला साफ-सुथरा व सभी सुविधाओं से युक्त होगा। विधायक ने गोगाना की तरफ भी व्यवस्था को पारदर्शी बनाने की जरूरत बताई। आने वाले वक्त में इस लक्खी मेले में करोड़ों श्रद्धालुओं की भीड़ आएगी। पिछले वर्ष मेले में 26 लाख श्रद्धालु आए थे, इस वर्ष 40 लाख से अधिक श्रद्धालुओं के आने की उम्मीद है।
नोहर एसडीएम सत्यनारायण सुथार ने कहा कि उत्तर भारत के सबसे बड़े सांप्रदायिक सद्भाव के मेले के लिए सभी कर्मचारी मुस्तैदी से कार्य करें, हमारा उद्देश्य है कि श्रद्धालुओं को कम से कम परेशानी हो। मेले क्षेत्र को चार सेक्टर में विभाजित किया गया है तथा प्रत्येक सेक्टर के लिए एक प्रभारी अधिकारी नियुक्त किया गए हैं।
जाहरवीर गोगा जी का जन्म भादो मास में नवमी को माना जाता है, जिसे गोगा नवमी कहते हैं। इसलिए पूरे भादो मास गोगामेडी में मेला लगता है यहां पर हरियाणा, पंजाब, दिल्ली, राजस्थान, उत्तर प्रदेश, गुजरात, महाराष्ट्र, पश्चिम बंगाल सहित देश के दूर-दूर के राज्यों श्रद्धालु आते हैं।