ट्रिब्यून न्यूज सर्विस
चंडीगढ़, 29 अगस्त
हरियाणा में विधानसभा चुनाव में ओल्ड पेंशन स्कीम का मुद्दा गरम है। प्रदेश के कर्मचारी और अधिकारी पिछले कई सालों से पेंशन बहाली संघर्ष समिति के बैनर तले लगातार ओपीएस बहाली के लिए आंदोलन करते आ रहे हैं। इसके बावजूद अभी तक ओपीएस मुद्दे का कोई समाधान सरकार नहीं निकाल पाई। इसे लेकर कर्मचारियों व अधिकारियों में सरकार के किए भारी नाराजगी है। केंद्र सरकार द्वारा एनपीएस के विकल्प के रूप में जारी की गई यूनिफाइड पेंशन स्कीम से प्रदेश और देश के कर्मचारी नाखुश हैं। नेशनल मूवमेंट फॉर ओल्ड पेंशन स्कीम के राष्ट्रीय मुख्य संगठन सचिव और पेंशन बहाली संघर्ष समिति के प्रदेश अध्यक्ष विजेंद्र धारीवाल ने कहा कि कर्मचारी पिछले लंबे समय से ओपीएस बहाली के लिए संघर्षरत हैं। इसे लेकर बड़ी रैलियां और प्रदर्शन किए जा चुके हैं लेकिन सरकार ओपीएस बहाल करने की बजाए मुद्दे को गुमराह करने का प्रयास कर रही है। इसे लेकर देश व प्रदेश के कर्मचारियों में भारी नाराजगी है।
सरकार पुरानी पेंशन बहाल करने की बजाए एनपीएस को बेहतर बताती आई है लेकिन कर्मचारियों की मांग के विपरीत नयी योजना यूपीएस ले आई जिसमें कर्मचारियों को फायदा होने की बजाए नुकसान ज्यादा होगा। धारीवाल ने कहा कि पेंशन आंदोलन को ओर ज्यादा तेज किया जाएगा।
इसके लिए देशभर के कर्मचारियों ने बृहस्पतिवार को एक्स पर ‘नो एनपीएस-नो यूपीएस ओनली ओपीएस’ हैशटैग को ट्रेंड करवाया। यह हैशटैग दोपहर 2 से 5 बजे तक एक्स पर ट्रेंड करता रहा। इसमें देशभर कर कर्मचारियों ने ट्वीट कर पुरानी पेंशन बहाली की मांग की। साथ ही, पहली सितंबर को हिसार में और 8 सितंबर को रोहतक में मंडल स्तरीय ओपीएस संकल्प, तिरंगा मार्च निकाला जाएगा।