इकबाल सिंह शांत/निस
डबवाली, 2 मई
विवाह पंजीकरण प्रमाण पत्र के नाम पर डबवाली तहसील कॉम्प्लेक्स में लोगों की हजारों रुपये की कथित लूट का खुलासा हुआ है। विवाह पंजीकरण प्रमाण पत्र में सरकारी फीस एक सौ रुपये सहित मात्र एक हजार रुपये खर्च आता है।
शेरगढ़ के खेत मजदूर रामस्वरूप से दो व्यक्तियों ने तत्कालीन नायब तहसीलदार के नाम पर विवाह पंजीकरण हेतु 13500 रुपये ऐंठ लिए। बुधवार को गांव शेरगढ़ निवासी रामस्वरूप ने नायब तहसीलदार रणवीर सिंह को शिकायत दर्ज करवाई थी। नायब तहसीलदार ने आज कार्यालय में दोनों पक्षों को आमने-सामने कर पूछताछ करनी थी, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं हुई। इस पर बृहस्पतिवार को किसान नेता राकेश फगोड़िया व सीटू नेता नत्थूराम भारुखेड़ा व पीड़ित ने नायब तहसीलदार से मुलाकात की, उन्होंने इंसाफ न मिलने पर 6 मई से तहसील कार्यालय के समक्ष अनिश्चितकालीन आंदोलन की चेतावनी दी।
बता दें कि अक्सर विवाह पंजीकरण को लेकर तहसील में लोग परेशान होते देखे जाते हैं। पीड़ित रामस्वरूप ने मुख्य मंत्री हरियाणा को शिकायत भेजी है। खेत मजदूर रामस्वरूप का आरोप है कि वह अपनी पुत्री ज्योति के विवाह पंजीकरण प्रमाण पत्र बनवाने के लिए तहसील कार्यालय गया था।
वहां सोनू नामक एक व्यक्ति ने विवाह पंजीकरण प्रमाण पत्र बनवाने के लिए पांच बार में 13500 रुपए वसूल लिए, जबकि विवाह पंजीकरण प्रमाण पत्र बनवाने के लिए सरकारी फीस सहित मात्र 1000 रुपए के लगभग खर्च आता है।
रामस्वरूप के मुताबिक सोनू ने बताया कि उसने तहसील में कार्यरत सोनू की मार्फत एक तत्कालीन नायब तहसीलदार को कथित रुपये दिए। नत्थूराम भारुखेड़ा ने आरोप लगाया कि तहसील कार्यालय में लोगों को बार-बार बुला कर परेशान करके भारी-भरकम रकम देने के लिए मजबूर किया जाता है। यह कार्य अधिकारी वर्ग की मिलीभगत के बिना संभव नहीं है।
बृहस्पतिवार को गांव डबवाली के जोगिन्द्र सिंह बताया कि उसने एक टाइपिस्ट को विवाह पंजीकरण प्रमाण पत्र बनवाने हेतु 3500 रुपये दिए हैं, जबकि दस्तावेजों इत्यादि पर एक हजार रुपये अलग से खर्च हुए।
नायब तहसीलदार रणवीर सिंह का कहना था कि वह कार्रवाई करने में सक्षम नहीं हैं। उन्होंने शिकायत एसडीएम को भेज दी है। उन्होंने विवाह पंजीकरण प्रमाण पत्र बनवाने के लिए आमजन को बाहरी लोगों के चंगुल से बचने के प्रति सचेत किया।