विनोद जिन्दल/हप्र
कुरुक्षेत्र, 22 दिसंबर
केंद्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री अमित शाह ने कहा कि व्यक्ति, समाज, राष्ट्र व विश्व की समस्याओं का समाधान श्रीमद्भागवद् गीता में समाहित है। कुरुक्षेत्र में मनाये जा रहे अंतरराष्ट्रीय गीता महोत्सव से आज देश-विदेश में गीता का संदेश पहुंच रहा है। वे शुक्रवार को कुरुक्षेत्र में चल रहे अंतरराष्ट्रीय गीता महोत्सव के दौरान आयोजित संत सम्मेलन को संबोधित कर रहे थे। संत सम्मेलन के बाद केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह, उनकी पत्नी सोनल शाह, मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने शक्तिपीठ मां भद्रकाली मंदिर में परंपरा अनुसार पूजा-अर्चना की और शक्तिपीठ के पीठाधीश सतपाल शर्मा महाराज ने पूजा करवाई।
केंद्रीय गृह मंत्री ने संत सम्मेलन में कहा कि 2014 में जब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी कुरुक्षेत्र में गीता जयंती महोत्सव में आए थे, उस समय उन्होंने संकल्पना की थी कि गीता के संदेश को विश्व में प्रसारित करने के लिए इसका स्वरूप बढ़ाया जाना चाहिए। मुख्यमंत्री मनोहर लाल साधुवाद के पात्र हैं। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री ने इन 10 सालों में ऐतिहासिक निर्णय लिए हैं। श्रीराम जन्मभूमि पर भव्य मंदिर का निर्माण हो रहा है और 22 जनवरी को श्रीरामलला अपने घर में प्रस्थापित हो जाएंगे।
योग ऋषि स्वामी बाबा रामदेव ने सम्मेलन में कहा कि हमारे जीवन और आचरण में गीता बसी हुई है। गीता में सब की गहरी निष्ठा है।
इस अवसर पर स्वामी अवधेशानंद, स्वामी परमात्मानंद, स्वामी राजेंदर दास, स्वामी ब्रम्हानंद, स्वामी ब्रह्मसरूप, बाबा भूपेन्द्र, स्वामी शाश्वतानंद, राज्यमंत्री संदीप सिंह, विधायक सुभाष सुधा, पूर्व मंत्री कृष्ण बेदी, भाजपा के प्रदेश महामंत्री डा. पवन सैनी, चेयरमैन धर्मवीर मिर्जापुर, जिला परिषद चेयरपर्सन कंवलजीत कौर, भाजपा जिलाध्यक्ष रवि बतान, हरियाणा सरस्वती धरोहर विकास बोर्ड के उपाध्यक्ष धुमन सिंह, पिहोवा नप चेयरमैन आशीष चक्रपाणी, जिप वाइस चेयरमैन डीपी चैधरी सहित कई संत-महात्मा व बड़ी संख्या में लोग उपस्थित थे।
गीता के प्रचार-प्रसार को गति दें संत-महापुरुष : मनोहर
मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने कहा कि 2014 से भारत सरकार का संचालन भारतीय संस्कृति के अनुसार किया जा रहा है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और गृहमंत्री अमित शाह आसान तरीके से जटिल मुद्दों को सुलझा लेते हैं। जम्मू-कश्मीर से 370 हटाने, अयोध्या में भगवान श्रीराम के मंदिर का निर्माण, ट्रिपल तलाक जैसे ऐतिहासिक फैसले लिए हैं। इस मौके पर मुख्यमंत्री ने संतों का स्वागत भी किया और उन्हें गीता के प्रचार-प्रसार को गति देने का आगृह किया। संत-सम्मेलन को योग ऋषि बाबा रामदेव, गीता मनीषी स्वामी ज्ञानानंद महाराज ने भी संबोधित किया।