नयी दिल्ली, 28 फरवरी (एजेंसी)
सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को कहा कि वह ‘साइरस इन्वेस्टमेंट प्राइवेट लिमिटेड’ (सीआईपीएल) की उस याचिका पर सुनवाई 10 दिन बाद करेगा, जिसमें 2021 में एनटीएलएटी (राष्ट्रीय कंपनी विधि अपीलीय अधिकरण) के आदेश को खारिज करते हुए दिए गये फैसले में साइरस मिस्त्री के खिलाफ की गयी कुछ टिप्पणियों को हटाने का अनुरोध किया गया है। सीजेआई एनवी रमण की अगुवाई वाली तीन सदस्यीय पीठ के समक्ष सीआईपीएल और मिस्त्री की तरफ से पेश हुए वरिष्ठ अधिवक्ता जनक द्वारकादास ने बताया कि यह याचिका फैसले की ‘उन टिप्पणियों को हटाने के लिए है जो उनकी प्रतिष्ठा, गरिमा और चरित्र को ठेस पहुंचाती हैं।’ टाटा समूह की तरफ से वरिष्ठ अधिवक्ता हरीश साल्वे ने कहा कि याचिका पर सुनवाई को लेकर हमें गंभीर आपत्ति है। इस पर पीठ ने कहा कि वह 10 दिन बाद दोनों पक्षों को सुनेगी।
गौरतलब है कि अदालत ने 26 मार्च 2021 को एनसीएलएटी के उस फैसले को रद्द कर दिया था, जिसमें सायरस मिस्त्री को टाटा समूह का दोबारा कार्यकारी अध्यक्ष नियुक्त करने का आदेश दिया गया था। मिस्त्री ने टाटा सन्स प्राइवेट लिमिटेड का अध्यक्ष पद 2012 में संभाला था और 4 वर्ष बाद उन्हें पद से हटा दिया गया था। शापूरजी पालोनजी (एसपी) समूह ने न्यायालय से कहा था कि बोर्ड की बैठक में मिस्त्री को टाटा सन्स के अध्यक्ष पद से हटाना ‘खूनी खेल’ और ‘घात’ लगाकर किया गया हमला था। यह कंपनी संचालन के सिद्धान्तों के खिलाफ था। वहीं टाटा समूह ने इन आरोपों को खारिज किया था और कहा था कि बोर्ड के पास मिस्त्री को अध्यक्ष पद से हटाने का अधिकार है।