पटियाला, 12 मई (ट्रिन्यू)
पंजाबी साहित्य सभा, पटियाला द्वारा भाषा विभाग के लेक्चर हाल में पंजाबी के नामवर कवि डॉ. सुरजीत पातर को समर्पित शोक सभा का आयोजन किया गया। इस शोक सभा में साहित्य सभा के अध्यक्ष और साहित्य अकादमी बाल साहित्य पुरस्कार विजेता डॉ. दर्शन सिंह ‘आशट’ ने कहा कि डॉ. सुरजीत पातर का जाना पंजाबी साहित्य और भाषा के लिए बड़ी क्षति है। डॉ. आशट ने कहा कि पातर पंजाबी शायरी का वह सुनहरी पृष्ठ है जिसकी आभा कभी कम नहीं हो सकती। उनकी कलम सदैव नई पीढ़ी का मार्गदर्शन करती रहेगी। इस शोक सभा में शिरोमणि संस्कृत साहित्यकार डाॅ. महेश गौतम, पंजाबी विद्वान डाॅ. गुरबचन सिंह राही, भाषा विभाग के पूर्व सहायक निदेशक कंवलजीत कौर, रिसर्च अफसर डाॅ. सुखदर्शन सिंह चाहल, रंगकर्मी मनपाल टिवाणा और डाॅ. सुरजीत पातर के नजदीकी रिश्तेदार और पंजाबी मासिक पत्रिका ‘अणु’ के सम्पादक सुरेन्द्र कैले (लुधियाना) भी विशेष तौर पर शामिल हुये। मंचाचीन शख्सियतों के अलावा बड़ी संख्या में शामिल हुये साहित्यकारों ने शोक प्रकट किया गया और दो मिनट का मौन भी रखा। डाॅ. आशट ने इस मौके पर बताया कि भविष्य में डाॅ. पातर से संबंधित कुछ और कार्यक्रमों की योजना तैयार करने का प्रयत्न भी किया जायेगा। इस अवसर पर सभा के महासचिव देवेन्द्र पटियालवी, कहानीकार बाबू सिंह रैहल, लघु कथाकार योगराज प्रभाकर के अलावा अन्य साहित्यकार भी शामिल हुये।