संगरूर, 17 नवंबर (निस)
पंजाब के वित्त मंत्री हरपाल सिंह चीमा ने कहा कि केंद्र की भाजपा सरकार पंजाब के साथ लगातार बदले की भावना से व्यवहार कर रही है। कभी पानी का मुद्दा, कभी धान की खरीद छोड़ने और अब चंडीगढ़ में विधानसभा परिसर के लिए हरियाणा को जगह देने का मामला साजिश से भरा है।
वित्त मंत्री ने लहरागागा में मीडिया से बातचीत के दौरान कहा कि केंद्र पंजाबियों के धैर्य की परीक्षा ले रहा है, लेकिन हम पंजाब के अधिकारों को और नष्ट नहीं होने देंगे। वित्त मंत्री हरपाल सिंह चीमा ने कहा कि यह मामला पंजाब के हक के लिए बेहद अहम है। उन्होंने कहा कि चंडीगढ़ पंजाब की राजधानी है और पूरी तरह से राज्य से जुड़ा हुआ मामला है। इसलिए, आप सरकार हरियाणा विधानसभा के निर्माण के लिए शहर में भूमि आवंटित करने के किसी भी प्रयास का कड़ा विरोध करती है। चंडीगढ़ पंजाब की राजधानी है और किसी अन्य राज्य को यहां विधानसभा बनाने का अधिकार नहीं है।
हरपाल सिंह चीमा ने कहा कि हरियाणा सरकार ने पंचकूला में 12 एकड़ जमीन के बजाय चंडीगढ़ में 10 एकड़ जमीन मांगी है। यह प्रस्ताव चंडीगढ़ में अपना विधानसभा परिसर स्थापित करने के उनके स्पष्ट एजेंडे का हिस्सा है। उन्होंने याद दिलाया कि जब पंजाब और हरियाणा का गठन हुआ था, तो यह स्पष्ट रूप से कहा गया था कि हरियाणा अपनी राजधानी पंचकूला में स्थापित करेगा, न कि चंडीगढ़ में।
उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि हरियाणा की विधानसभा पंचकूला में होनी चाहिए। उन्होंने कहा कि पंजाब एक ऐसा राज्य है जो देश के लिए अपने बलिदानों के लिए जाना जाता है और हम उस अधिकार के लिए लड़ते रहेंगे जो वास्तव में हमारा है।
चीमा ने यह भी स्पष्ट किया कि वह इस मुद्दे को पूरी गंभीरता और प्रतिबद्धता के साथ आगे बढ़ाना जारी रखेंगे, यह सुनिश्चित करते हुए कि पंजाब की आवाज जोर से और स्पष्ट रूप से सुनी जाए।