सिडनी, 11 जनवरी (एजेंसी)
चेतेश्वर पुजारा और ऋषभ पंत की शतकीय साझेदारी टूटने से जीत की उम्मीदें धूमिल पड़ने के बाद हनुमा विहारी और रविचंद्रन अश्विन ने क्रीज पर पांव जमाये जिससे भारत सोमवार को यहां तीसरा टेस्ट क्रिकेट मैच ड्रा कराकर आस्ट्रेलिया पर मनोवैज्ञानिक बढ़त हासिल करने में सफल रहा। विहारी ने पांव की मांसपेशियों में खिंचाव आने के बावजूद अश्विन के साथ अंतिम सत्र में आस्ट्रेलियाई गेंदबाजों की हर रणनीति को नाकाम करके उसकी जीत की उम्मीदों पर पानी फेरा। हनुमा ने लगभग चार घंटे क्रीज पर बिताकर अपने नाबाद 23 रन के लिये 161 गेंदें खेली जबकि अश्विन ने 128 गेंदों पर नाबाद 38 रन बनाये। दोनों ने लगभग 43 ओवरों का सामना करके छठे विकेट के लिये 62 रन जोड़े।
इससे पहले पुजारा ने 205 गेंदों पर 77 रन बनाये थे जबकि विहारी से पहले बल्लेबाजी के लिये भेजे गये पंत ने आक्रामक अंदाज दिखाकर 118 गेंदों पर 12 चौकों और तीन छक्कों की मदद से 97 रन बनाये। इन दोनों ने चौथे विकेट के लिये 148 रन जोड़े। भारत ने 407 रन के लक्ष्य का पीछा करते हुए आखिर में 131 ओवरों में पांच विकेट पर 334 रन बनाये। जब मैच में एक ओवर बचा हुआ था तब दोनों टीमें ड्रा पर सहमत हो गयीं। आस्ट्रेलिया ने पहली पारी में 338 रन बनाये थे और दूसरी पारी छह विकेट पर 312 रन बनाकर समाप्त घोषित की। भारत ने पहली पारी में 244 रन बनाये थे। रोमांच की पराकाष्ठा पर पहुंचे इस मैच के ड्रा होने के बाद चार मैचों की सीरीज 1-1 से बराबरी पर है। अब ब्रिसबेन में 15 जनवरी से शुरू होने वाला चौथा और अंतिम टेस्ट मैच निर्णायक बन गया है। पुजारा जब दूसरे सत्र के आखिर में आउट हुए तब दिन के लगभग 43 ओवर बचे हुए थे। भारत लक्ष्य से 137 रन दूर था लेकिन रविंद्र जडेजा चोटिल थे और ऐसे में हमलावर तेवर अपनाने वाले आस्ट्रेलियाई गेंदबाजों के सामने पुछल्ले बल्लेबाजों को लाना बुद्धिमतापूर्ण नहीं होता। ऐसे में भारत ने ड्रा के लिये बल्लेबाजी की तथा विहारी और अश्विन ने टीम की रणनीति पर बखूबी अमल किया। आस्ट्रेलिया ने शार्ट पिच गेंदें की, लगातार अपील करके दबाव बनाया, गेंदबाजी में लगातार बदलाव किये लेकिन विहारी और अश्विन की एकाग्रता भंग नहीं हुई।
पेन ने कहा, मैंने टीम को निराश किया
आस्ट्रेलियाई कप्तान टिम पेन ने सोमवार को अपने लिये सबसे खराब दिनों में से एक करार दिया क्योंकि उन्होंने तीन कैच छोड़कर अपनी टीम को निराश किया और एक तरह से तीसरा टेस्ट मैच ड्रा करवाने में भारत की मदद की। भारत के सामने 407 रन का लक्ष्य था और उसने पांच विकेट पर 334 रन बनाकर मैच ड्रा करवाया। पेन ने कहा कि उन्होंने विकेट के पीछे अच्छा प्रदर्शन नहीं किया। पेन ने ऋषभ पंत के दो कैच छोड़े जिन्होंने 97 रन की प्रवाहमय पारी खेली और भारत की जीत की उम्मीद जगायी। इसके बाद उन्होंने हनुमा विहारी को भी जीवनदान दिया जो 23 रन बनाकर नाबाद रहे। पेन ने मैच के बाद संवाददाता सम्मेलन में कहा, ‘निश्चित तौर पर इस परिणाम में छोड़े गये कैच की भूमिका भी अहम रही। परिणाम किसी के पक्ष में भी जा सकता था लेकिन मैं बहुत निराश हूं। मुझे अपनी विकेटकीपिंग पर गर्व है। मेरे लिये आज का दिन सबसे बुरे दिनों में से एक था।’
पुजारा के 6000 रन पूरे
स्टार बल्लेबाज चेतेश्वर पुजारा सोमवार को टेस्ट क्रिकेट में 6000 रन पूरे करने वाले 11वें भारतीय बने। अपना 80वां मैच खेल रहे पुजारा ने आस्ट्रेलिया के खिलाफ सिडनी क्रिकेट मैदान पर तीसरे टेस्ट के पांचवें और अंतिम दिन यह उपलब्धि हासिल की। अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट परिषद (आईसीसी) ने इसके बाद सोशल मीडिया पर उन्हें बधाई दी। आईसीसी ने लिखा, ‘चेतेश्वर पुजारा टेस्ट क्रिकेट में 6000 रन पूरे करने वाले 11वें भारतीय बल्लेबाज बने। कितने शानदार बल्लेबाज हैं वह।’ पुजारा से पहले भारतीय बल्लेबाजों में सचिन तेंदुलकर (15921), राहुल द्रविड़ (13265), सुनील गावस्कर (10122), वीवीएस लक्ष्मण (8781), वीरेंद्र सहवाग (8503), विराट कोहली (7318), सौरव गांगुली (7212), दिलीप वेंगसरकर (6868), मोहम्मद अजहरूद्दीन (6215) और गुंडप्पा विश्वनाथ टेस्ट क्रिकेट में 6000 से अधिक रन बना चुके हैं।