नयी दिल्ली, 29 सितंबर (भाषा)
Mann Ki Baat: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) ने रविवार को श्रोताओं को ‘मन की बात’ कार्यक्रम का असली ‘सूत्रधार’ करार देते हुए कहा कि इस रेडियो कार्यक्रम ने साबित किया है कि देश के लोगों में सकारात्मक जानकारी (positive information) की कितनी भूख है।
आकाशवाणी के इस मासिक रेडियो कार्यक्रम की 114वीं कड़ी को संबोधित करते हुए मोदी ने जल संरक्षण (water conservation), पर्यावरण संरक्षण (environmental conservation) और स्वच्छता अभियान (cleanliness drive) के महत्व को भी रेखांकित किया और लोगों से इसमें भागीदारी का आह्वान किया।
‘मन की बात’ की इस कड़ी के साथ ही इसके 10 वर्ष (10 years) पूरे होने का उल्लेख करते हुए मोदी ने कहा कि इस कार्यक्रम की लंबी यात्रा में ऐसे कई पड़ाव आए जिन्हें वह कभी भूल नहीं सकते।
उन्होंने कहा, ‘हमारी इस यात्रा के कई ऐसे साथी हैं जिनका हमें निरंतर सहयोग मिलता रहा है। देश के कोने-कोने से उन्होंने जानकारियां उपलब्ध कराईं। ‘मन की बात’ के श्रोता ही इस कार्यक्रम के असली सूत्रधार हैं।”
प्रधानमंत्री ने कहा कि आमतौर पर एक धारणा (perception) ऐसी गढ़ी गई है कि जब तक चटपटी (sensational) और नकारात्मक बातें ना हो तब तक उस कार्यक्रम को ज्यादा तवज्जो नहीं मिल पाती। उन्होंने कहा, ‘लेकिन मन की बात ने साबित किया है कि देश के लोगों में सकारात्मक जानकारी की कितनी भूख है। सकारात्मक बातें एवं प्रेरणादायी उदाहरण (inspirational examples) लोगों को बहुत पसंद आते हैं।’
प्रधानमंत्री ने कहा कि उन्हें गर्व होता है जब वह कार्यक्रम से जुड़ी चिट्ठियों को पढ़ते हैं और पाते हैं कि देश में कितने प्रतिभावान (talented) लोग हैं और उनमें देश एवं समाज की सेवा करने का कितना जज्बा (passion) है। उन्होंने कहा, ‘ ‘मन की बात’ की यह पूरी प्रक्रिया मेरे लिए ऐसी है जैसे मंदिर जाकर ईश्वर के दर्शन करना।’
उन्होंने इस कार्यक्रम से जुड़े सभी लोगों के अलावा इसके प्रचार प्रसार में योगदान देने वाले मीडिया समूहों (media groups) का आभार व्यक्त किया। प्रधानमंत्री ने अपने संबोधन के दौरान जल संरक्षण (water conservation), पर्यावरण संरक्षण (environment conservation), ‘एक पेड़ मां के नाम’ और स्वच्छता अभियान (cleanliness drive) के महत्व को भी रेखांकित किया।